इतिहासफ्रांस की क्रांतिविश्व का इतिहास

टेनिस कोर्ट की शपथ क्या थी

टेनिस कोर्ट की शपथ क्या थी

फ्रांस में 20 जून 1789ई. को कुलीनों एवं प्रक्रियावादी तत्वों के प्रभाव में आकर लुई सोलहवें ने तीसरे वर्ग(एस्टेट्स-जनरल) के सदन (सभा-भवन)में ताला लगवा दिया। जब तीसरे सदन के सदस्य हमेशा की भाँति सभा भवन में बैठने गए तो उन्हें द्वार पर ताला मिला और सुरक्षा के लिये पहरेदार तैनात थे।

सदस्यों को कहा गया कि एक विशेष समारोह की तैयारी के लिये सभा भवन में मरम्मत करवाना जरूरी हो गया है। सदस्यों को कहीं न कहीं अपना अधिवेशन करना जरूरी था। समीप में ही एक बहुत विशाल भवन था जो टेनिस खेलने तथा घोङे की सवारी के लिये प्रयोग में लाया जाता था।

मीराबो और आबे साइस के सुझाव पर सभी प्रतिनिधि उस भवन की तरफ गए और वहीं अपना अधिवेशन किया। वहाँ उन्होंने शपथ ली कि वे अपनी बैठकें जारी रखेंगे और एक संविधान बनाकर छोङेंगे। इतिहास में यह टेनिस कोर्ट की शपथ के नाम से विख्यात है।

कुछ विद्वान क्रांति का प्रारंभ इसी घटना से मानते हैं। क्योंकि इस्टेट्स जनरल के केवल एक सदन ने एक तरफा कार्यवाही के द्वारा अपने आपको राष्ट्रीय महासभा में परिवर्तित करने के बाद अब संविधान बनाने की घोषणा कर दी थी।

1. पुस्तक- आधुनिक विश्व का इतिहास (1500-1945ई.), लेखक - कालूराम शर्मा

Related Articles

error: Content is protected !!